मोदी सरकार ने अपने कार्यकाल के दौरान वित्तीय जगत पर बड़ा प्रभाव डालने वाले कई बड़े फैसले लिए हैं. इनमें नोटबंदी कर देश में संचार हो रहे 86 फीसदी मुद्रा को बंद करना और उसकी जगह नई मुद्रा का संचार शुरू करना, वन नेशन वन टैक्स की परिकल्पना के तहत गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स (जीएसटी) लागू करना और बैंकों का एनपीए संकट दूर करने के लिए सरकारी खजाने से लाखों करोड़ का भुगतान करना शामिल हैं. इसी क्रम में मोदी सरकार बैंकिंग व्यवस्था में एक और कानून बना रहा है जिसका व्यापक असर न सिर्फ बैंकों पर पड़ेगा बल्कि बैंक में बचत खाते में पैसा रखने वाला एक-एक ग्राहक इस कानून के दायरे में रहेगा और इस कानून से उसके लिए एक कभी न खत्म होने वाली 'परमानेंट नोटबंदी' का नया वित्तीय ढांचा खड़ा हो जाएगा.
क्या है नया कानून?
केन्द्र सरकार फाइनेनशियल रेजोल्यूशन एंड डिपॉजिट इंश्योरेंस बिल (एफआरडीआई बिल) 2017 को जोरशोर से तैयार कर आगामी शीतकालीन सत्र के दौरान संसद में पेश करने जा रही है. संसद के दोनों सदनों में पुख्ता बहुमत के कारण यह बिल आसानी से पास होकर नया कानून भी बन जाएगा. इससे पहले इस बिल को केन्द्र सरकार ने मानसून सत्र के दौरान संसद में पेश किया था और तब इसे ज्वाइंट पार्लियामेंट्री कमेटी के पास सुझाव के लिए भेज दिया गया था. अब एक बार फिर केन्द्र सरकार ज्वाइंट पार्लियामेंट्री कमेटी की सुझावों को देखते हुए नए बिल का प्रस्ताव संसद में पेश करेगी.
क्यों जरूरी है नया कानून?
केन्द्र सरकार द्वारा तैयार किए जा रहे इस नए कानून से दोनों सरकारी और प्राइवेट बैंक, इंश्योरेंस कंपनियां और अन्य वित्तीय संस्थाओं में दिवालियापन की समस्या से निपटने के लिए एक नया ढांचा तैयार किया जाएगा. केन्द्र सरकार का दावा है कि यह कानून देश में बैंकिंग और इंसॉल्वेंसी कोड, सरकारी बैंकों के रीकैपिटलाइजेश प्लान और इंश्योरेंस सेक्टर में विदेशी निवेश की मंजूरी के बाद फाइनेनशियल सेक्टर का एक लैंडमार्क रिफॉर्म होगा.
इस कानून से कैसे बदल जाएगा आपका बैंक?
केन्द्र सरकार के नए एफआरडीआई कानून से एक मौजूदा कानून डिपॉजिट इंश्योरेंस एंड क्रेडिट गारंटी कॉरपोरेशन खत्म कर दिया जाएगा. मौजूदा समय में अलग-अलग बैंकों में जमा आपके पैसे की गारंटी इसी कानून से मिलती है. इस कानून में एक अहम प्रावधान कि किसी बैंक के बीमार होने की स्थिति में यदि उसे दिवालिया घोषित किया जाता है तो बैंक के ग्राहकों का एक लाख रुपये तक डिपॉजिट बैंक को वापस करना होगा. लिहाजा इसी कानून से देश की मौजूदा बैंकिंग व्यवस्था सबसे सुरक्षित और विश्वसनीय माना जाता है.
इस सुरक्षित बैंकिंग व्यवस्था के चलते ही देश में बैंकों के ग्राहकों को बैंक में विश्वास कायम रहता है कि उनका पैसा कभी डूब नहीं सकता. किसी बैंक को दिवालिया करने पर भी सरकार ग्राहकों के डिपॉजिट की गारंटी इस कानून से देती है.
बनेगा नया रेजोल्यूशन कॉरपोरेशन
लेकिन नए कानून के जरिए प्रावधान किया जाएगा जहां यह धारणा पूरी तरह से खत्म हो जाएगी. पूराने कानून को हटाते हुए वित्त मंत्रालय के अधीन एक नए रेजोल्यूशन कॉरपोरेशन को स्थापित किया जाएगा. फिलहाल किसी बैंक की वित्तीय स्थिति का आंकलन करने और उसे वित्तीय संकट से बाहर निकलने की सलान देने का काम रिजर्व बैंक करता था. लेकिन एफआरडीआई कानून पास करने के बाद नया रेजोल्यूशन कॉरपोरेशन इस काम को करने लगेगा.
नए कानून का सबसे खतरनाक प्रावधान: परमानेंट नोटबंदी
फिलहाल देश में बैंक में वित्तीय संकट की स्थिति पैदा होने पर बैंको को बेलआउट पैकेज दिया जाता है. यह बेलआउट पैकेज केन्द्र सरकार अपने खजाने से देती है और कॉरपोरेट सेक्टर में गंदे कर्ज बांटकर बर्बाद हुआ बैंक इस बेलआउट पैकेज के सहारे दुबारा खड़े होने की कोशिश करता है. एफआरडीआई कानून के तहत प्रावधान किया गया है कि अब बेलआउट की जगह बैंक बेल-इन का सहारा ले सकेंगी.
लिहाजा, अब बैंकों के एनपीए की समस्या तीव्र होने पर नया रेजोल्यूशन कॉरपोरेशन यह तय करेगा कि बैंक में ग्राहकों के डिपॉजिट किए गए पैसे में ग्राहक कितना पैसा निकाल सकता है और कितना पैसा बैंक को उसका एनपीए पाटने के लिए दिया जा सकता है. उदाहरण के तौर पर मौजूदा समय में बैंक में सेविंग खाते में पड़े आपके एक लाख रुपये को आप जब चाहें और जितना चाहें निकाल सकते हैं. लेकिन नया कानून आ जाने के बाद केन्द्र सरकार नए कॉरपोरेशन के जरिए तय करेगी कि आर्थिक संकट के समय में ग्राहकों को कितना पैसा निकालने की छूट दी जाए और उनकी बचत की कितनी रकम के जरिए बैंकों के गंदे कर्ज को पाटने का काम किया जाए.
भोपाल। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि प्रदेश की बेटियों को शिक्षा में सहयोग के साथ ही विभिन्न क्षेत्रों में विकास और सामाजिक नेतृत्व के लिए सक्षम बनाया जाएगा। लाड़ली लक्ष्मी योजना 2.0 का क्रियान्वयन इसी उद्देश्य से ही प्रारंभ किया गया है। मुख्यमंत्री श्री चौहान आज रविन्द्र भवन भोपाल में योजना के अंतर्गत 1477 लाड़ली लक्ष्मी बेटियों को उच्च शिक्षा के लिए 1 करोड़ 85 लाख रूपये की राशि अंतरित कर संबोधित कर रहे थे।
भोपाल। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि विकास कार्य गुणवत्ता के साथ समय-सीमा में पूर्ण करें। यह हमारा कर्त्तव्य और धर्म है कि योजनाओं का लाभ प्रत्येक पात्र व्यक्ति कोमिले, लोगों की कठिनाईयाँ दूर हों और उनका जीवन सुगम हों। शासन-प्रशासन के माध्यम से हमें जन-सेवा का मौका मिला है। हम ईमानदारी के साथ मिशन मोड में अपने कर्त्तव्यों को निभाएँ। इससे प्रदेश प्रगति के पथ पर अग्रसर होगा।
भोपाल। प्रदेश के सरकारी स्कूलों में 70 हजार शिक्षकों की कमी है। ऐसे में स्कूलों में 40 हजार अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति करने की तैयारी चल रही है। शैक्षणिक सत्र 2022-23 में शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों में और सीएम राइज स्कूलों में शिक्षकों की भर्ती प्रक्रिया शुरू होने जा रही है।
विदिशा। जिले में सोमवार रात को वर्षा थमने के बावजूद बेतवा का जल स्तर बढ़ता जा रहा है। जिसके कारण बेतवा किनारे बसी बस्तियों और गांवों में पानी घुस गया है। शहर के एक दर्जन से अधिक इलाकों में तीन से चार फीट पानी होने के कारण नाव से लोगों को निकालना पड़ रहा है।
भोपाल। यातायात को सुगम बनाने और औद्योगिक विकास के लिए मध्य प्रदेश में अधोसंरचना विकास के काम तेजी के साथ किए जा रहे हैं। भोपाल, इंदौर सहित 15 स्थानों पर रोप-वे बनाए जाएंगे। इसके लिए राष्ट्रीय राजमार्ग लाजिस्टिक मैनेजमेंट कंपनी और लोक निर्माण विभाग के बीच अनुबंध हो चुका है।
भोपाल। पार्टी मुझे दरी बिछाने को कहेगी, तो शिवराज सिंह चौहान दरी बिछाने को भी राष्ट्रीय पुनर्निर्माण का काम मानकर करेगा। दिल्ली जाओगे कि वहां जाओगे। मुझे कहीं नहीं जाना। पार्टी कहेगी कि जैत में रहो, तो जैत में रहूंगा। पार्टी कहेगी भोपाल में रहो, तो भोपाल में रहूंगा। मुझे कोई अहं नहीं।
कोरोना वायरस के संक्रमण के दौर में भी बुलंदशहर में दो साधुओं की नृशंस हत्या पर प्रदेश में राजनीति तेज हो गई है। समाजवादी पार्टी के साथ ही कांग्रेस ने बुलंदशहर में डबल मर्डर (दो साधुओं की हत्या) के मामले में प्रदेश सरकार को कठघरे में खड़ा किया है।
Rajya Sabha Election 2020: गुजरात के राज्यसभा चुनाव में खींचतान के बीच भाजपा के लिए एक राहत की खबर यह है कि भारतीय ट्रायबल पार्टी (बीटीपी) ने चुनाव में समर्थन करने के संकेत दिए हैं। पार्टी के विधायक महेश वसावा ने उपमुख्यमंत्री नितिन पटेल से मुलाकात के बाद कहा कि 24 मार्च को कार्यकारणी की बैठक में समर्थन पर अंतिम फैसला होगा।
राज्यसभा चुनाव का प्रक्रिया जारी है और इस बीच बुधवार को 37 लोगों को राज्यसभा के लिए निर्विरोध चुन लिया गया। इनमें NCP (राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी) प्रमुख शरद पवार, केंद्रीय मंत्री रामदास आठवले और राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश नारायण सिंह शामिल हैं। बुधवार को नामांकन वापस लेने की समयसीमा बीत जाने के बाद इन प्रत्याशियों को निर्वाचित घोषित किया गया। मालूम हो की राज्यसभा की 55 सीटों के लिए 17 राज्यों में नामांकन भरे गए थे जिनमें से 37 का निर्विरोध चुनाव हो चुका है वहीं अब 26 मार्च को बची हुई 18 सीटों के लिए मतदान करावाया जाएगा। जिन सीटों के लिए मतदान होगा उनमें गुजरात और आंध्र प्रदेश में चार-चार, राजस्थान और मध्य प्रदेश में तीन-तीन, झारखंड में दो और मणिपुर एवं मेघालय में एक-एक सीट शामिल है।
Three years of Yogi Sarkar : उत्तर प्रदेश में भारतीय जानता पार्टी (BJP) की योगी सरकार ने 18 मार्च को अपने कार्यकाल के तीन साल पूरे कर लिये हैं। इस अवसर पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश सरकार की उपलब्धियों को बताया। लखनऊ में बुधवार को आयोजित पत्रकार वार्ता में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि चुनौतियों और संभावनाओं के महासमर में संकल्पों और सिद्धांतों की नाव से यात्रा करते हुए आज उत्तर प्रदेश में हमारी सरकार ने तीन वर्ष पूरे कर लिए हैं।